अभी कुछ दिन पहले ही जब मुझे छोटी सी ही सही मगर सफलता मिली थी तब माँ चर्चा कर रही थीं पापा के बारे में, कि कैसे वो जब मुझे फ़ोन में घुसा हुआ ...
अभी कुछ दिन पहले ही जब मुझे छोटी सी ही सही मगर सफलता मिली थी तब माँ चर्चा कर रही थीं पापा के बारे में, कि कैसे वो जब मुझे फ़ोन में घुसा हुआ देखते थे तब दुखी हो कर माँ से कहा करते थे कि “पता नहीं क्या होगा इस लड़के का, सारा दिन फ़ोन में ही घुसा रहता है । ये लिखने से इसे भला क्या मिलेगा, आगे के लिए कुछ करे कुछ सोचे मगर नहीं इसे बस यही करना है तो करे खुद पछताएगा ।” मैं जनता हूँ वो मेरा लिखा पढ़ा करते थे, उन्हें अच्चा भी लगता था मगर एक पिता जिसने इस ज़िन्दगी के सरे रंग देखे हैं वो अपने उस बच्चे के भविष्य को लेकर हमेशा चिंतित रहता है जिस बच्चे को उसने अँधेरे से डरते देखा है, चलने की कोशिश में गिर जाने के बाद रोते देखा है, हल्की सी डांट पर मुंह फूलते देखा है । उस पिता को इस बात कि चिंता होती है कि कैसे ये नाज़ुक सा बचचा ज़िन्दगी के इतने कठिन पड़ावों को पार कर पायेगा ।
मैं कहना चाहता हूँ कि काश पापा आज आप होते, मैं आपको दिखता कि मैं तब भी फ़ोन में यूँ ही नहीं घुसा रहता था, मैं तब भी जो लिखता था वो बस ऐसे ही नहीं था, जो भरोसा आपको मुझ पर होने के बाद भी बहार नहीं आ पता था वो खोखला नहीं था पापा । इस फेसबुक से किसका कैसा अनुभव रहा है ये तो मैं नहीं बता सकता मगर मुझे इस फेसबुक ने बहुत कुछ दिया । जब टूटी फूटी पंक्तियाँ लिखा करता था तब भी इतना ही स्नेह मिला और आज जब कहानियां लिखता हूँ तब भी यहाँ दोस्त मुझे उतना ही प्यार और सम्मान देते हैं । आज आपको देखना चाहिए था कि जितनी भी दुआएं आपके बेटे को उन लोगों से मिली हैं जिनसे वो कभी मिला भी नहीं उन सभी दुआओं में कितना स्नेह कितना सम्मान था । ये सब उसी फ़ोन में घुसे रहने का नतीजा है पापा ।
आज आपका बेटा कह सकता है कि उसने इस फेसबुक से बहुत कुछ कमाया है । आज आप होते तो देखते कि मैंने अपना भविष्य चुन लिया है और ये दुआएं इस बात का संकेत हैं कि मैं उस रस्ते पर सही जा रहा हूँ जो मुझे अपनी मंज़िल तक ले जायेगा । मैं जानता हूँ कम से कम आज के दिन तो आपने कहीं न कहीं से मुझे देखा ज़रूर होगा, देख कर मुस्कुराये भी होंगे मगर अफ़सोस मैं वो मुस्कराहट ना देख सकूँगा अब कभी ।
इंसान हूँ, तो मेरा बुरा होना लाज़मी है, अच्छा होता तो भगवन ना हो जाता मगर कोशिश हमेशा से यही रही है कि अगर बुरा भी हूँ तो अपने तक ही उस बुराई को रखूं, उससे किसी और को कष्ट ना पहुँचने दूँ । फिर भी कई बार जाने अनजाने में हो ही गया है जब बेवजह ही दुसरे के दुःख का कारण बन गया हूँ । लेकिन यहाँ तो कभी कभी खुद को ही लगने लगता है कि ‘भाई ना तेरे में कोई कमी हो ही नहीं सकती’ ।
आज इतनी शुभकामनाएं मिली हैं कि मैं शाम से लगातार सब के उत्तर देने की कोशिश में लगा हुआ हूँ, लैपटॉप और फ़ोन तक हंग करने लगे मगर सभी मित्रों के जवाब ना दे पाया । मैं उन सभी मित्रों से हाथ जोड़ कर क्षमा चाहता हूँ जिन तक मैं पहुँच नहीं पाया और उन्हें इस पोस्ट के माध्यम से बस इतना कहना चाहता हूँ कि आप सब हैं तभी मैं हूँ, आप सबके कारण ही मेरी आजीविका है, आप सबके कारण ही मेरा सम्मान है, आप सब हैं तभी मैं रेंगते हुए ही सही मगर आगे बढ़ रहा हूँ, इसी लिए अगर मैं किसी मित्र तक नहीं पहुँच पाया उनकी शुभकामनाओं का जवाब नहीं दे पाया तो उसके लिए मैं क्षमा चाहता हूँ ।
सभी मित्रों का दिल से आभारी हूँ, उनका भी जिन्होंने ढेर सारे शब्दों के साथ इस आम से बंदे को इतना खास फील कराया, उनका भी जिन्होंने थोड़े शब्दों में ढेर सारी दुआएं दे दीं, उनका भी जिहोंने जन्मदिन की शुभकामनाएं कह कर अपनी उपस्थिति दर्ज करायी और उनका भी जो समय का आभाव होते हुए भी ‘मुबारक’ ‘बधाई’ ‘hbd’ कहना नहीं भूले, और उनका भी जो किसी भी कारणवश शुभकामनाएं नहीं दे पाए लेकिन उनकी दुआओं में मैं हमेशा हूँ ।
सभी मित्रों के बाद उसे मन की गहराइयों से बहुत बहुत शुक्रिया जिसकी वजह से मेरा ये दिन पूरा होता है, जिसके लिए हर साल आज का पूरा दिन किसी उत्सव से कम नहीं होता । जो कई दिनों से मेरे लिए ऐसी छोटी छोटी खुशियाँ समेटने में लगी हुई थी जिन्होंने एक साथ मिल कर मुझे मुझे आज इतनी ख़ुशी दी कि एक पल के लिए लगा कि इन्हें रखूं कहाँ । वो जिसके आई लव यू कहने पर उसे आई लव यू टू कहते हुए मैं खुद को दुनिया का सबसे खुशनसीब इंसान मानता हूँ, वो जिसे पता है कि मैं किस बात से खुश होता हूँ और किस बात से उदास, वो जो मेरी हर उदासी को मुस्कराहट में बदलने की क्षमता रखती है । वो जिसके लिए मैं प्रेम के नियम “पा लेना ही प्रेम नहीं” को झुठला कर उसे पाना ही अपने जीवन का सबसे बड़ा लक्ष्य मानता हूँ, वो जिसे मेरे अपनों की मुझसे ज्यादा परवाह है । छुप कर ही सही मगर तुम्हे अपना कह सकूँ ये हक़ देने के लिए तुम्हारा शुक्रगुज़ार हूँ ।
और सबसे ज़्यादा शुक्रिया माँ और भाइयों जिनकी वजह से हर रोज़ ही खुद को खास महसूस करता हूँ ।
केक आर्यन भाई लाया था, जो कि एक सरप्राईज़ था । मैंने कहा भाई इसकी क्या ज़रुरत थी तू छोटा है । तो कहता है “अपने सबसे फेवरेट भईया के लिए इतना भी नहीं कर सकता क्या ।” मेरे पास मुस्कुराने के सिवा कोई दूसरा जवाब नहीं था ।
उन सभी का दिल से आभार जिनकी दी हुई छोटी छोटी मुस्कुराहटों ने मेरा ये दिन सबसे खास बना दिया ।
आप सब का अपना
धीरज झा
Keywords : Hindi, Dad, Maa, Sorry, Happiness
मैं कहना चाहता हूँ कि काश पापा आज आप होते, मैं आपको दिखता कि मैं तब भी फ़ोन में यूँ ही नहीं घुसा रहता था, मैं तब भी जो लिखता था वो बस ऐसे ही नहीं था, जो भरोसा आपको मुझ पर होने के बाद भी बहार नहीं आ पता था वो खोखला नहीं था पापा । इस फेसबुक से किसका कैसा अनुभव रहा है ये तो मैं नहीं बता सकता मगर मुझे इस फेसबुक ने बहुत कुछ दिया । जब टूटी फूटी पंक्तियाँ लिखा करता था तब भी इतना ही स्नेह मिला और आज जब कहानियां लिखता हूँ तब भी यहाँ दोस्त मुझे उतना ही प्यार और सम्मान देते हैं । आज आपको देखना चाहिए था कि जितनी भी दुआएं आपके बेटे को उन लोगों से मिली हैं जिनसे वो कभी मिला भी नहीं उन सभी दुआओं में कितना स्नेह कितना सम्मान था । ये सब उसी फ़ोन में घुसे रहने का नतीजा है पापा ।
आज आपका बेटा कह सकता है कि उसने इस फेसबुक से बहुत कुछ कमाया है । आज आप होते तो देखते कि मैंने अपना भविष्य चुन लिया है और ये दुआएं इस बात का संकेत हैं कि मैं उस रस्ते पर सही जा रहा हूँ जो मुझे अपनी मंज़िल तक ले जायेगा । मैं जानता हूँ कम से कम आज के दिन तो आपने कहीं न कहीं से मुझे देखा ज़रूर होगा, देख कर मुस्कुराये भी होंगे मगर अफ़सोस मैं वो मुस्कराहट ना देख सकूँगा अब कभी ।
इंसान हूँ, तो मेरा बुरा होना लाज़मी है, अच्छा होता तो भगवन ना हो जाता मगर कोशिश हमेशा से यही रही है कि अगर बुरा भी हूँ तो अपने तक ही उस बुराई को रखूं, उससे किसी और को कष्ट ना पहुँचने दूँ । फिर भी कई बार जाने अनजाने में हो ही गया है जब बेवजह ही दुसरे के दुःख का कारण बन गया हूँ । लेकिन यहाँ तो कभी कभी खुद को ही लगने लगता है कि ‘भाई ना तेरे में कोई कमी हो ही नहीं सकती’ ।
आज इतनी शुभकामनाएं मिली हैं कि मैं शाम से लगातार सब के उत्तर देने की कोशिश में लगा हुआ हूँ, लैपटॉप और फ़ोन तक हंग करने लगे मगर सभी मित्रों के जवाब ना दे पाया । मैं उन सभी मित्रों से हाथ जोड़ कर क्षमा चाहता हूँ जिन तक मैं पहुँच नहीं पाया और उन्हें इस पोस्ट के माध्यम से बस इतना कहना चाहता हूँ कि आप सब हैं तभी मैं हूँ, आप सबके कारण ही मेरी आजीविका है, आप सबके कारण ही मेरा सम्मान है, आप सब हैं तभी मैं रेंगते हुए ही सही मगर आगे बढ़ रहा हूँ, इसी लिए अगर मैं किसी मित्र तक नहीं पहुँच पाया उनकी शुभकामनाओं का जवाब नहीं दे पाया तो उसके लिए मैं क्षमा चाहता हूँ ।
सभी मित्रों का दिल से आभारी हूँ, उनका भी जिन्होंने ढेर सारे शब्दों के साथ इस आम से बंदे को इतना खास फील कराया, उनका भी जिन्होंने थोड़े शब्दों में ढेर सारी दुआएं दे दीं, उनका भी जिहोंने जन्मदिन की शुभकामनाएं कह कर अपनी उपस्थिति दर्ज करायी और उनका भी जो समय का आभाव होते हुए भी ‘मुबारक’ ‘बधाई’ ‘hbd’ कहना नहीं भूले, और उनका भी जो किसी भी कारणवश शुभकामनाएं नहीं दे पाए लेकिन उनकी दुआओं में मैं हमेशा हूँ ।
सभी मित्रों के बाद उसे मन की गहराइयों से बहुत बहुत शुक्रिया जिसकी वजह से मेरा ये दिन पूरा होता है, जिसके लिए हर साल आज का पूरा दिन किसी उत्सव से कम नहीं होता । जो कई दिनों से मेरे लिए ऐसी छोटी छोटी खुशियाँ समेटने में लगी हुई थी जिन्होंने एक साथ मिल कर मुझे मुझे आज इतनी ख़ुशी दी कि एक पल के लिए लगा कि इन्हें रखूं कहाँ । वो जिसके आई लव यू कहने पर उसे आई लव यू टू कहते हुए मैं खुद को दुनिया का सबसे खुशनसीब इंसान मानता हूँ, वो जिसे पता है कि मैं किस बात से खुश होता हूँ और किस बात से उदास, वो जो मेरी हर उदासी को मुस्कराहट में बदलने की क्षमता रखती है । वो जिसके लिए मैं प्रेम के नियम “पा लेना ही प्रेम नहीं” को झुठला कर उसे पाना ही अपने जीवन का सबसे बड़ा लक्ष्य मानता हूँ, वो जिसे मेरे अपनों की मुझसे ज्यादा परवाह है । छुप कर ही सही मगर तुम्हे अपना कह सकूँ ये हक़ देने के लिए तुम्हारा शुक्रगुज़ार हूँ ।
और सबसे ज़्यादा शुक्रिया माँ और भाइयों जिनकी वजह से हर रोज़ ही खुद को खास महसूस करता हूँ ।
केक आर्यन भाई लाया था, जो कि एक सरप्राईज़ था । मैंने कहा भाई इसकी क्या ज़रुरत थी तू छोटा है । तो कहता है “अपने सबसे फेवरेट भईया के लिए इतना भी नहीं कर सकता क्या ।” मेरे पास मुस्कुराने के सिवा कोई दूसरा जवाब नहीं था ।
उन सभी का दिल से आभार जिनकी दी हुई छोटी छोटी मुस्कुराहटों ने मेरा ये दिन सबसे खास बना दिया ।
आप सब का अपना
धीरज झा
Keywords : Hindi, Dad, Maa, Sorry, Happiness
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