जिम्मेदार हो रहे लौंडों का कोई नया साल नहीं होता दोस्त । मोहब्बत खो देने का डर, घर से लेकर बाहरी दुनिया तक से बनाया जा रहा शादी का दबाव, करि...
लोग एक दूसरे को शुभकामनाएं दे रहे होते हैं और ये बस यही सोच रहे होते हैं कि जो भसड़ इतने बीते सालों में ना समेटी गई उसे भला ये नया साल घंटा सही कर पाएगा ।
ये लौंडे नए साल की पार्टी ज़रूर मनाते हैं लेकिन खुशी मानने के लिए नहीं बस कुछ देर मन को ये कह कर बहलाने ले लिए कि दोस्त तू अकेला नहीं है, तेरे बहुत से साथी हैं जो अभी तेरे साथ बैठ कर दारू पी रहे हैं । ये बात अलग है कि वो खुद भी ये जानते हैं कि सुबह तक नशा और ये वहम दोनों उतर जाएंगे ।
बिछड़ने की कगार पर खड़ी मोहब्बत भला कहां ये सोचने देती है कि बीते साल में क्या खोया और आने वाले साल में क्या पाना है । उसकी तो बस एक ही इच्छा है जो शायद कभी पूरी ना हो ।
नया साल क्या है? बेहतर होने की उम्मीद भर ही ना! लेकिन घर की जिम्मेदारी उठाने वाले कंधों पर उम्मीदों के बने रहने की जगह भी कहां रह जाती है । यहां तो बस कमाना और घर परिवार की ज़रूरतें पूरी करने भर की ही हिम्मत बची है ।
घर से दूर रह कर रोजी रोटी कमा रहे लौंडों के मन में भी आता है कि गांव चल कर फिर से दोस्तों के साथ नए साल पर पिकनिक मनाई जाए लेकिन पैरों में पड़ी बेड़ियां कब सरकते हुए मन की इस चाह के गले तक पहुंचती हैं और कब चुपचाप गला घोंट देती हैं पता ही कहां चलता है ।
जिन शेर लौंडों ने पिछले दो सालों में अपने पिता के रूप में सबसे बड़ा बल खो दिया और उनकी जगह छोटी उम्र में ही घर के बड़े बन गए, उन्हें अब किसी भी नए साल से भला क्या ही बेहतर की उम्मीद रहेगी ।
सर पर लटक रही विरह की तलवार किस वक्त दो दिलों के बीच का बंधन काट कर उन्हें अलग कर दे, इस सोच से ही जिनकी रूह कांप रही हो उन्होंने ऐसे कितने नए साल इसी डर के साए में बिता दिए ।
शादी, नौकरी, रोजगार इन सब के लिए हर रोज़ टोके जाने वाले लौंडे भला खाक खुशी मनाएंगे नए साल की । अपनी इच्छाओं को दबा देने वाले, दुनिया के सामने हंसने और अकेले में आंसू बहाने वाले लौंडों का कोई नया साल नहीं होता ।
लेकिन फिर भी ये खुश हैं, नए साल की बधाई व शुभकामनाएं दे रहे हैं । क्योंकि इन्हें मालूम है, वक्त चलता रहेगा, अगर ये खुश ना हुए तो इनके अंदर का दुख इन्हें खा जाएगा । ये जानते हैं उम्मीदों की बैसाखी टूटते ही ये पूरी तरह अपाहिज हो जाएंगे । ये वाकिफ़ हैं इस बात से कि दुनिया में यही अकेले हैं जो खुद को हिम्मत दे सकते हैं वर्ना दूसरा कोई नहीं आएगा इन्हें हौसला और हिम्मत देने ।
तो मुबारक हो ऐसे जीवट लोगों को नया साल, ये नया साल इनके हौसले, हिम्मत और उम्मीदों के नाम 💐💐💐💐 महादेव ऐसे लोगों को इस बार एक ऐसा नया साल दें जो सच में इन्हें नया लगे, इनकी पिछली सारी मुश्किलें इस साल हल हों, इन्हें हिम्मत मिले, बल मिले 🙏🙏
धीरज झा
COMMENTS